Ghazals of Zubair Farooq
नाम | ज़ुबैर फ़ारूक़ |
---|---|
अंग्रेज़ी नाम | Zubair Farooq |
जन्म की तारीख | 1956 |
जन्म स्थान | Dubai |
वाक़िआ कोई तो हो जाता सँभलने के लिए
साफ़ आईना है क्यूँ मुझे धुँदला दिखाई दे
मेरा सारा बदन राख हो भी चुका मैं ने दिल को बचाया है तेरे लिए
लोग कहते हैं यहाँ एक हसीं रहता था
दिल का ग़म से ग़म का नम से राब्ता बनता गया
आँखों में है बसा हुआ तूफ़ान देखना