Ghazals of Vali Madni
नाम | वली मदनी |
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अंग्रेज़ी नाम | Vali Madni |
सीने के दाग़ उन को दिखाए न जा सके
फैला न यूँ ख़ुलूस की चादर मिरे लिए
हवा-ए-शोख़ की आख़िर फ़ुसूँ कारी ये कैसी है
फ़सील-ए-रेग पर इतना भरोसा कर लिया तुम ने
दिल प्यार के रिश्तों से मुकर भी नहीं जाता
बना कर ख़ुद को जिस ने इक भला इंसान रक्खा है
बहुत टूटा हूँ लेकिन हौसला ज़िंदा बहुत कुछ है