Warning: session_start(): open(/var/cpanel/php/sessions/ea-php56/sess_c1c9a4dbc694569043bf9f6d477acbdb, O_RDWR) failed: Disk quota exceeded (122) in /home/dars/public_html/helper/cn.php on line 1

Warning: session_start(): Failed to read session data: files (path: /var/cpanel/php/sessions/ea-php56) in /home/dars/public_html/helper/cn.php on line 1
Collection: गंतव्य Hindi Poetry | Best Hindi Shayari & Poems - Page 26 - Darsaal

गंतव्य Poetry (page 26)

रौशनी तेज़ करो चाँद सितारो अपनी

हीरा लाल फ़लक देहलवी

मैं ने अंजाम से पहले न पलट कर देखा

हीरा लाल फ़लक देहलवी

हम तो मंज़िल के तलबगार थे लेकिन मंज़िल

हीरा लाल फ़लक देहलवी

सुकून-ए-दिल के लिए और क़रार-ए-जाँ के लिए

हीरा लाल फ़लक देहलवी

मेरी हस्ती में मिरी ज़ीस्त में शामिल होना

हीरा लाल फ़लक देहलवी

कू-ए-जानाँ में नहीं कोई गुज़र की सूरत

हीरा लाल फ़लक देहलवी

आह-ए-ज़िंदाँ में जो की चर्ख़ पे आवाज़ गई

हीरा लाल फ़लक देहलवी

फ़सील-ए-शुक्र में हैं सब्र के हिसार में हैं

हयात वारसी

ख़ाल-ए-रुख़्सार को दाग़-ए-मह-ए-कामिल बाँधा

हयात मदरासी

अपना सा शौक़ औरों में लाएँ कहाँ से हम

हसरत मोहानी

शाख़ से फूल को फिर जुदा कर दिया

हसन निज़ामी

रुत है ऐसी कि दर-ओ-बाम न साए होंगे

हसन निज़ामी

कू-ए-रुसवाई से उठ कर दार तक तन्हा गया

हसन नईम

ख़्वाब ठहरा सर-ए-मंज़िल न तह-ए-बाम कभी

हसन नईम

जो ग़म के शो'लों से बुझ गए थे हम उन के दाग़ों का हार लाए

हसन नईम

दिल वो किश्त-ए-आरज़ू था जिस की पैमाइश न की

हसन नईम

लोग सुब्ह ओ शाम की नैरंगियाँ देखा किए

हसन नज्मी सिकन्दरपुरी

झुलसे बदन न सुलगें आँखें ऐसे हैं दिन-रात मिरे

हसन कमाल

फ़िक्र-ए-मंज़िल है न नाम-ए-रहनुमा लेते हैं हम

हसन अज़ीमाबादी

आरज़ू की हमा-हामी और मैं

हसन अख्तर जलील

आज भी तेरी ही सूरत है मुक़ाबिल मेरे

हसन अकबर कमाल

थे वो क़िस्से मगर सराब के थे

हसन आबिद

जम्अ हैं सारे मुसाफ़िर ना-ख़ुदा-ए-दिल के पास

हरी चंद अख़्तर

ये क्या ख़बर थी कि जब तुम से दोस्ती होगी

हरबंस लाल अनेजा 'जमाल'

जितने क़रीं तुम आए

हरबंस लाल अनेजा 'जमाल'

फ़ैज़-ए-दिल से मुतरिब-ए-कामिल हुआ जाता हूँ मैं

हरबंस लाल अनेजा 'जमाल'

तख़लीक़-ए-बे-सबात का ज़र्रा-नज़ीर हूँ

हक़ीर जहानी

आज सौदा-ए-मोहब्बत की ये अर्ज़ानी है

हेंसन रेहानी

उन के आने पे दिल फ़िदा होगा

हंस राज सचदेव 'हज़ीं'

मुस्कुरा दोगे तो ये रात सँवर जाएगी

हंस राज सचदेव 'हज़ीं'

Collection of Hindi Poetry. Get Best Hindi Shayari, Poems and ghazal. Read shayari Hindi, poetry by famous Hindi and Urdu poets. Share poetry hindi on Facebook, Whatsapp, Twitter and Instagram.