सय्यद काशिफ़ रज़ा कविता, ग़ज़ल तथा कविताओं का सय्यद काशिफ़ रज़ा
नाम | सय्यद काशिफ़ रज़ा |
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अंग्रेज़ी नाम | Syed Kashif Raza |
जन्म की तारीख | 1973 |
जन्म स्थान | Karachi |
वो जो मक़ाम है तेरा मिरी कहानी में
मैं अपने-आप से कम भी हूँ और ज़ियादा भी
कभी कभी मुझे लगता है वो नहीं है वो
इस क़दर ग़ौर से देखा है सरापा उस का
मेरी उम्र में बहुत से वक़्त नहीं आए
मैं एक आँसू इकट्ठा कर रहा हूँ
इजतिमाई मुबाशरत
हम अपनी ज़िंदगी के लिए शुक्र-गुज़ार हैं
हमारे लिए तो यही है!
एक मुजस्समे की ज़ियारत
एक इश्क़ की नस्ली तारीख़
दरख़्त
'चार्ली-चैपलिन'
अगर ये ज़िंदगी तन्हा नहीं होती
आज़ादी का महल्ल-ए-वक़ूअ'-1
आचानक मर जाने वाले लोग
ये कज-अदाई ये ग़म्ज़ा तिरा कभी फिर यार!
ये कैसी आया-ए-मोजिज़-नुमा निकल आई
वो याद कर भी रहा हो तो फ़ाएदा क्या है
वो सैर-ए-गुल के वास्ते आ ही नहीं रहा
उस पर निगाह फिरती रही और दूर दूर
तू मुझ को चाहता है इस मुग़ालते में रहूँ
था मगर इतना ज़ियादा तो जुनूँ-ख़ेज़ न था
तिरी जुदाई में ये दिल बहुत दुखी तो नहीं
तिरी आँखों को तेरे हुस्न का दर जाना था
तड़प भी है मिरी और बाइस-ए-सुकूँ भी है
सग-ए-जमाल हूँ गर्दन से बाँध कर ले जा
रंग से रास्ता सूरत से पता लेता हूँ
रद्द-ओ-कद के भी ब'अद रह जाए
क़रार दीदा-ओ-दिल में रहा नहीं है बहुत