सय्यद अहमद शमीम कविता, ग़ज़ल तथा कविताओं का सय्यद अहमद शमीम
नाम | सय्यद अहमद शमीम |
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अंग्रेज़ी नाम | Syed Ahmed Shameem |
जन्म की तारीख | 1933 |
मौत की तिथि | 1993 |
हम दोज़ख़-ए-एहसास में जलते ही रहेंगे
वो मिरा होगा ये सोचा ही नहीं
वो दश्त-ए-तीरगी है कि कोई सदा न दे
उतर के धूप जब आएगी शब के ज़ीने से
ऊँची नीची पेच खाती दौड़ती काली सड़क
तुम मिरे पास रहो जिस्म की गरमी बख़्शो
था आईने के सामने चेहरा खुला हुआ
शोला-ए-इश्क़ में जो दिल को तपाँ रखते हैं
कितने जुग बीत गए फिर भी न भूला जाए
किस तरह ज़िंदा रहेंगे हम तुम्हारे शहर में
जागते में रात मुझ को ख़्वाब दिखलाया गया
जब सफ़र को मैं ने थामा था ये अंधा रास्ता
एक जग बीत गया झूम के आए बादल