मुझे फ़िक्र-ओ-सर-ए-वफ़ा है हनूज़
बादा-ए-इश्क़ ना-रसा है हनूज़
ओ नज़र दिल से फेरने वाले
दिल तुझी पर मिटा हुआ है हनूज़
सारी दुनिया हो ना-उमीद तो क्या
मुझे तेरा ही आसरा है हनूज़
आस्ताँ से अभी नज़र न हटा
कोई तक़दीर-आज़मा है हनूज़
मह्विय्यत बे-सबब नहीं 'सीमाब'
रूह पर कोई छा रहा है हनूज़