मेरी फ़िक्र की ख़ुशबू क़ैद हो नहीं सकती
यूँ तो मेरे होंटों पर मस्लहत का ताला है
Jaun Eliya
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तसलसुल
अंदेशा
मजबूरियाँ
वो ज़िंदा है
रोज़ पूजा के लिए फूल सजाता है 'सलाम'
गुरेज़
मुझे वो नज़्म लिखनी है
अवाम
मज़दूर लड़की
धरती अमर है
रात दिल को था सहर का इंतिज़ार
मेरी मौत ऐ साक़ी इर्तिक़ा है हस्ती का