ऐ मेरी जाँ मिरी आँखों की रौशनी सुन तो

ऐ मेरी जाँ मिरी आँखों की रौशनी सुन तो

जो ज़ख़्म तू ने दिए मैं ने गुल बना डाले

महक रहे हैं वही शेर बन के साँसों में

तिरे लबों ने कई गीत मुझ को बख़्शे हैं

तिरे ही जिस्म का जादू जगा है नज़्मों में

ऐ मेरी जाँ मिरी ग़ज़लों की नग़्मगी सुन तो

तू आज भी मिरे हमराह हम-नवा है मिरी

तिरे ही नाम पे दिल अब तलक धड़कता है

मैं तुझ को भूल गया ये ख़याल है तेरा

ये सोच है तिरी बे-मा'नी बे सबब सुन तो

ऐ मेरी जाँ मिरी ग़ज़लों की ताज़गी सुन तो

(572) Peoples Rate This

Your Thoughts and Comments

Ai Meri Jaan Meri Aankhon Ki Raushni Sun To In Hindi By Famous Poet Moni Gopal Tapish. Ai Meri Jaan Meri Aankhon Ki Raushni Sun To is written by Moni Gopal Tapish. Complete Poem Ai Meri Jaan Meri Aankhon Ki Raushni Sun To in Hindi by Moni Gopal Tapish. Download free Ai Meri Jaan Meri Aankhon Ki Raushni Sun To Poem for Youth in PDF. Ai Meri Jaan Meri Aankhon Ki Raushni Sun To is a Poem on Inspiration for young students. Share Ai Meri Jaan Meri Aankhon Ki Raushni Sun To with your friends on Twitter, Whatsapp and Facebook.