लोग जब तेरा नाम लेते हैं

लोग जब तेरा नाम लेते हैं

हम कलेजे को थाम लेते हैं

राहबर की नहीं हमें हाजत

ख़िज़्र का दिल से काम लेते हैं

बादा भी मस्त-ए-नाज़ होता है

जिस अदा से वो जाम लेते हैं

शैख़ साहिब बहुत मुरीदों से

आप माल-ए-हराम लेते हैं

मुफ़्त बोसा हसीं नहीं देते

दिल जो देते हैं दाम लेते हैं

आदमी क्या मलक दरूद के साथ

नाम-ए-ख़ैरुल-अनाम लेते हैं

उन को ढूँडे कहाँ कहाँ कोई

कब वो नाम-ए-क़याम लेते हैं

फ़ित्ना-ए-रोज़गार बन बन कर

घर नया सुब्ह ओ शाम लेते हैं

ज़ोफ़ भी कैफ़ से नहीं ख़ाली

जब गिरूँ मैं वो थाम लेते हैं

जान कर 'मीर' का कलाम 'असर'

लोग तेरा कलाम लेते हैं

(1066) Peoples Rate This

Your Thoughts and Comments

Log Jab Tera Nam Lete Hain In Hindi By Famous Poet Imdad Imam Asar. Log Jab Tera Nam Lete Hain is written by Imdad Imam Asar. Complete Poem Log Jab Tera Nam Lete Hain in Hindi by Imdad Imam Asar. Download free Log Jab Tera Nam Lete Hain Poem for Youth in PDF. Log Jab Tera Nam Lete Hain is a Poem on Inspiration for young students. Share Log Jab Tera Nam Lete Hain with your friends on Twitter, Whatsapp and Facebook.