Love Poetry of Hidayatullah Khan Shamsi
नाम | हिदायतुल्लाह ख़ान शम्सी |
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अंग्रेज़ी नाम | Hidayatullah Khan Shamsi |
ज़िंदगी से मिली सौग़ात ये तन्हाई की
तड़प के हाल सुनाया तो आँख भर आई
रास आई न मुझे अंजुमन-आराई भी
फिर अँधेरी राह में कोई दिया मिल जाएगा
मुझे तेरी जुदाई का ये सदमा मार डालेगा
मिरे शाने पे रहने दो अभी गेसू ज़रा ठहरो
दोस्तों से तो किनारा भी नहीं कर सकता
दिन रात तुम्हारी यादों से हम ज़ख़्म सँवारा करते हैं
दिल में इक शोर उठाते हैं चले जाते हैं
बहुत कठिन है डगर थोड़ी दूर साथ चलो
अपने कहते हैं कोई बात तो दुख होता है