Warning: session_start(): open(/var/cpanel/php/sessions/ea-php56/sess_cea1b00e91242cc8b714f40be9d94f2b, O_RDWR) failed: Disk quota exceeded (122) in /home/dars/public_html/helper/cn.php on line 1

Warning: session_start(): Failed to read session data: files (path: /var/cpanel/php/sessions/ea-php56) in /home/dars/public_html/helper/cn.php on line 1
मैं तलाश में किसी और की मुझे ढूँढता कोई और है - हसन अब्बास रज़ा कविता - Darsaal

मैं तलाश में किसी और की मुझे ढूँढता कोई और है

मैं तलाश में किसी और की मुझे ढूँढता कोई और है

मैं सवाल हूँ किसी और का मेरा मसअला कोई और है

कभी चाँद-चेहरों की भीड़ से जो निकल के आया तो ये खुला

वो जो अस्ल था उसे खो दिया जिसे पा लिया कोई और है

कटी उम्र एक उसी चाह में उसे देखते किसी राह में

मगर इक ज़माने के बा'द जो हुआ आश्ना कोई और है

फ़क़त एक पल के फ़िराक़ में कई ख़्वाब किर्चियाँ हो गए

जो पलट के आए तो यूँ लगा यहाँ सिलसिला कोई और है

वही लोग हैं वही नाम हैं वही घर वही दर-ओ-बाम हैं

मगर अब दरीचों की ओट से हमें झाँकता कोई और है

किसी आने वाले सफ़र की जब करो इब्तिदा तो ये सोचना

मैं अकेला इस में शरीक हूँ कि मिरे सिवा कोई और है

उसे मिल के आए तो शाम को मुझे आइने ने कहा सुनो

वो जो सुब्ह-दम था हसन-'रज़ा' वो तुम्ही हो या कोई और है

(1091) Peoples Rate This

Your Thoughts and Comments

Main Talash Mein Kisi Aur Ki Mujhe DhunDhta Koi Aur Hai In Hindi By Famous Poet Hasan Abbas Raza. Main Talash Mein Kisi Aur Ki Mujhe DhunDhta Koi Aur Hai is written by Hasan Abbas Raza. Complete Poem Main Talash Mein Kisi Aur Ki Mujhe DhunDhta Koi Aur Hai in Hindi by Hasan Abbas Raza. Download free Main Talash Mein Kisi Aur Ki Mujhe DhunDhta Koi Aur Hai Poem for Youth in PDF. Main Talash Mein Kisi Aur Ki Mujhe DhunDhta Koi Aur Hai is a Poem on Inspiration for young students. Share Main Talash Mein Kisi Aur Ki Mujhe DhunDhta Koi Aur Hai with your friends on Twitter, Whatsapp and Facebook.