हामिद मुख़्तार हामिद कविता, ग़ज़ल तथा कविताओं का हामिद मुख़्तार हामिद
नाम | हामिद मुख़्तार हामिद |
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अंग्रेज़ी नाम | Hamid Mukhtar Hamid |
जन्म स्थान | Khatauli |
ये जफ़ाओं की सज़ा है कि तमाशाई है तू
ये बुज़ुर्गों की रवा-दारी के पज़-मुर्दा गुलाब
उम्र ही तेरी गुज़र जाएगी उन के हल में
तू हँसी ले के मिरी आँख को आँसू दे दे
मुझ से ये प्यास का सहरा नहीं देखा जाता
मक़ाम-ए-ज़ब्त ग़म-ए-इश्क़ में वो पैदा कर
गिर न जाए तिरे मेयार से अंदाज़-ए-हुरूफ़
आज का ख़त ही उसे भेजा है कोरा लेकिन
तपते सहराओं की सौग़ात लिए बैठा है
पोशीदा अजब ज़ीस्त का इक राज़ है मुझ में
मुझ से ये प्यास का सहरा नहीं देखा जाता
मआल-ए-दिल के लिए आज यूँ ख़ुदी तरसे
एक इंसान हूँ इंसाँ का परस्तार हूँ मैं
चाहे कुछ हो ज़ेर-ए-एहसाँ अपनी नादारी न रख
अपनी तक़दीर का शिकवा नहीं लिख्खा मैं ने