Heart Broken Poetry of Fatima Hasan
नाम | फ़ातिमा हसन |
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अंग्रेज़ी नाम | Fatima Hasan |
जन्म की तारीख | 1953 |
जन्म स्थान | Karachi |
सुनती रही मैं सब के दुख ख़ामोशी से
सुकून-ए-दिल के लिए इश्क़ तो बहाना था
पहचान जिन से थी वो हवाले मिटा दिए
कितने अच्छे लोग थे क्या रौनक़ें थीं उन के साथ
भूल गई हूँ किस से मेरा नाता था
और कोई नहीं है उस के सिवा
ज़ख़्मी उँगलियों से एक नज़्म
नज़्म
मेरी बेटी चलना सीख गई
एक नज़्म माँ के लिए
आख़िरी लफ़्ज़
ज़मीं से रिश्ता-ए-दीवार-ओ-दर भी रखना है
सुकून-ए-दिल के लिए इश्क़ तो बहाना था
रुका जवाब की ख़ातिर न कुछ सवाल किया
रूह की माँग है वो जिस्म का सामान नहीं
मिरी ज़मीं पे लगी आप के नगर में लगी
मैं टूट कर उसे चाहूँ ये इख़्तियार भी हो
मैं टूट कर उसे चाहूँ ये इख़्तियार भी हो
किस से बिछड़ी कौन मिला था भूल गई
ख़्वाब गिरवी रख दिए आँखों का सौदा कर दिया
ख़ुशबू है और धीमा सा दुख फैला है
कौन ख़्वाहिश करे कि और जिए
जिन ख़्वाहिशों को देखती रहती थी ख़्वाब में
जिन ख़्वाहिशों को देखती रहती थी ख़्वाब में
जाता है जो घरों को वो रस्ता बदल दिया
बिखर रहे थे हर इक सम्त काएनात के रंग