तुम्हारे हाथ ख़ाली जेब ख़ाली ज़ुल्फ़ ख़ाली थी
न थे तुम चोर दिल के लो इधर देखो ये क्या निकला
Anwar Masood
Ahmad Faraz
Wasi Shah
Jaun Eliya
Rahat Indori
Mohsin Naqvi
Parveen Shakir
Habib Jalib
Faiz Ahmad Faiz
Mir Taqi Mir
Gulzar
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अब आप कोई काम सिखा दीजिए हम को
मौत आ रही है वादे पे या आ रहे हो तुम
आ गए फिर तिरे अरमान मिटाने हम को
हमें इस्लाम उसे इतना तअल्लुक़ है अभी बाक़ी
आइना देख कर वो ये समझे
सवाल-ए-वस्ल पर कुछ सोच कर उस ने कहा मुझ से
दे मोहब्बत तो मोहब्बत में असर पैदा कर
आशिक़ हैं मगर इश्क़ नुमायाँ नहीं रखते
उन के आते ही हुआ हसरत-ओ-अरमाँ का हुजूम
बेवफ़ा कहने से क्या वो बेवफ़ा हो जाएगा
नमक भर कर मिरे ज़ख़्मों में तुम क्या मुस्कुराते हो