Warning: session_start(): open(/var/cpanel/php/sessions/ea-php56/sess_cad2ef4c04ff716e50f076dd1e5e7bf5, O_RDWR) failed: Disk quota exceeded (122) in /home/dars/public_html/helper/cn.php on line 1

Warning: session_start(): Failed to read session data: files (path: /var/cpanel/php/sessions/ea-php56) in /home/dars/public_html/helper/cn.php on line 1
मैं वफ़ा का सौदागर - अज़ीज़ क़ैसी कविता - Darsaal

मैं वफ़ा का सौदागर

मैं वफ़ा का सौदागर

लुट के दश्त-ओ-सहरा से

बस्तियों में आया हूँ

ख़्वाब-हा-ए-अरमाँ हैं

या कुछ अश्क के क़तरे

ज़ेब-ए-तर्फ़-ए-मिज़्गाँ हैं

जाने कब ढलक जाएँ

तार तार पैराहन

है लहू में तर लेकिन

जामा-ज़ेबी-ए-उल्फ़त

लाज तेरे हाथों है

इक हुजूम आँखों का

चीख़ते सवालों का

हर जगह है इस्तादा

मैं हयात का मुजरिम

आरज़ू का मुल्ज़िम हूँ

कोई वलवला हैजाँ

कोई ज़ीस्त का अरमाँ

कुछ नहीं मिरे दिल में

ऐ हुजूम-ए-बे-पायाँ

मैं दरीदा-पैराहन

सच है तेरी बस्ती में

नंग-ए-पारसाई हूँ

वज्ह-ए-संग-सारी हूँ!

(1181) Peoples Rate This

Your Thoughts and Comments

Main Wafa Ka Saudagar In Hindi By Famous Poet Aziz Qaisi. Main Wafa Ka Saudagar is written by Aziz Qaisi. Complete Poem Main Wafa Ka Saudagar in Hindi by Aziz Qaisi. Download free Main Wafa Ka Saudagar Poem for Youth in PDF. Main Wafa Ka Saudagar is a Poem on Inspiration for young students. Share Main Wafa Ka Saudagar with your friends on Twitter, Whatsapp and Facebook.