ऐसा ये दर्द है कि भुलाया न जाएगा

ऐसा ये दर्द है कि भुलाया न जाएगा

मेआ'र-ए-इश्क़ उन से बढ़ाया न जाएगा

इस बार उन से कह दो क़दम सोच कर रखें

उजड़ा जो फिर ये शहर बसाया न जाएगा

जो लोग बुग़्ज़ दिल में छुपाए हैं आज भी

उन से मिरे मकान में आया न जाएगा

हक़ बात बोलने से किया जिस किसी ने ख़ौफ़

महफ़िल में फिर कभी भी बुलाया न जाएगा

थे मुत्तफ़िक़ तो बात से मेरी सभी मगर

शेवा मिरा ख़याल बनाया न जाएगा

शायद इसी लिए नहीं आए वो मेरे पास

जो आ गए तो छोड़ के जाया न जाएगा

गर एहतिराम कर न सके बज़्म-ए-नाज़ का

शर्मिंदगी से सर को उठाया न जाएगा

ज़हर-आब मेरे वास्ते वो ले तो आएगा

साक़ी से जाम हम को पिलाया न जाएगा

'असरा' बना लो शौक़ को अपने जुनूँ की आग

इक बार बुझ गई तो जलाया न जाएगा

(1508) Peoples Rate This

Your Thoughts and Comments

Aisa Ye Dard Hai Ki Bhulaya Na Jaega In Hindi By Famous Poet Asra Rizvi. Aisa Ye Dard Hai Ki Bhulaya Na Jaega is written by Asra Rizvi. Complete Poem Aisa Ye Dard Hai Ki Bhulaya Na Jaega in Hindi by Asra Rizvi. Download free Aisa Ye Dard Hai Ki Bhulaya Na Jaega Poem for Youth in PDF. Aisa Ye Dard Hai Ki Bhulaya Na Jaega is a Poem on Inspiration for young students. Share Aisa Ye Dard Hai Ki Bhulaya Na Jaega with your friends on Twitter, Whatsapp and Facebook.