Hope Poetry of Arsh Siddiqui
नाम | अर्श सिद्दीक़ी |
---|---|
अंग्रेज़ी नाम | Arsh Siddiqui |
जन्म की तारीख | 1927 |
मौत की तिथि | 1997 |
जन्म स्थान | Multan |
बाज़-गश्त
रौशनी बन के सितारों में रवाँ रहते हैं
आख़िर हम ने तौर पुराना छोड़ दिया
देख रह जाए न तू ख़्वाहिश के गुम्बद में असीर
ज़ंजीर से उठती है सदा सहमी हुई सी
मैं आलम-ए-इम्काँ में जिसे ढूँढ रहा हूँ
क्या साथ तिरा दूँ कि मैं इक मौज-ए-हवा हूँ
दरवाज़ा तिरे शहर का वा चाहिए मुझ को
बंद आँखों से न हुस्न-ए-शब का अंदाज़ा लगा
बैठा हूँ वक़्फ़-ए-मातम-ए-हस्ती मिटा हुआ
अज़ाब-ए-बे-दिली-ए-जान-ए-मुब्तला न गया
आँखों में कहीं उस के भी तूफ़ाँ तो नहीं था