Ghazals of Ahsan Yusuf Zai
नाम | अहसन यूसुफ़ ज़ई |
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अंग्रेज़ी नाम | Ahsan Yusuf Zai |
जन्म स्थान | Aurangabad |
ये किस करनी का फल होगा कैसी रुत में जागे हम
शीशे शीशे को पैवस्त-ए-जाँ मत करो
शब-रंग परिंदे रग-ओ-रेशे में उतर जाएँ
लहर से लहर का नाता क्या है
काग़ज़ की नाव हूँ जिसे तिनका डुबो सके
जहाँ शीशा है पत्थर जागते हैं
हाँ नहीं के बीच धुँदलाई सी शाम
हमारी साँसें मिली हैं गिन के
घर घर आपस में दुश्मनी भी है